
राजकीय इंटरमीडिएट कालेज में शिक्षा की कमियों से जूझता गोनीखाल
उत्तराखंड राज्य बने 17 साल हो गए हैं और अभी तक स्वास्थ्य , शिक्षा , पानी ,सड़क जैसी समस्याओं से आज भी पूरा उत्तराखंड जूझा रहा है । जिन मूलभूत सुविधाओं के लिए उत्तराखंड की जनता ने एक आंदोलन किया और लम्बी लड़ाई लड़कर उत्तराखंड को प्राप्त किया। आज भी उत्तराखंड अपनी सुख – सुविधाओं के लिए पहले से बदत्तर स्थिति आ गया है।शिक्षा के क्षेत्र में आयी कमी के कारण उत्तराखंड के दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोग लगातार मैदानी क्षेत्र में पलायन कर रहे हैं। फिर भी सरकार नहीं जाग रही है। आज भी शिक्षा के क्षेत्र में हुए कमियों को दूर नहीं कर पा रही है/ स्कूल को कमियों के कारणं छात्र अपना पठन- पाठन नहीं कर पा रहे हैं और स शिक्षक भी छात्रों को नहीं पढ़ा पा रहे हैं आखिर कब तक छात्रों को और शिक्षकों को स्कूल की कमियों से जूझना पड़ेगा यह एक आज भी शिक्षा के क्षेत्र में बड़ा सवाल खड़ा हो गया है।
देवप्रयाग विधान सभा विकासखंड कीर्तिनगर के राजकीय इंटरमीडिएट कालेज गोनीखाल भौतिक संसाधनों की कमियों के लिए जूझ रहा है 208 छात्र- छात्राओं की संख्या वाले इंटर में बने भवन जीर्ण -शीर्ण और कक्षा – कक्ष की भी कमी है। जिसके कारण छात्रों को बाहर कालेज प्रागण में पढ़ाना पड़ता है। क्लास रूम में भी बरसात के दिनों में पानी टपकता है और क्लास रूम में पानी भर जाता है छत से छोटे- छोटे टुकड़े गिरते रहते हैं। जिसके कारण छात्रों के पठन – पाठन व्यवधान व छात्रों व शिक्षकों को भी हर समय खतरा बना हुआ है।
कालेज भवन की कमी तो है ही साथ- साथ छात्रों को बैठने के लिए फर्नीचर की भी कमी है , शौचालय की कमी है। शिक्षकों और छात्र- छात्राओं के लिए शौचालय पुराने तरीके के हैं जो जीर्ण शीर्ण हैं। राजकीय इण्टर कालेज गोनी खाल में भौतिक संसाधनों कमी के साथ- साथ शिक्षकों की कमी भी है। इंटर कालेज अर्थशास्त्र और हिंदी प्रवक्ता सं 2012- 13 से पद रिक्त है। इसके अलावा कम्यूटर में शिक्षक का पद सर्जित ही नहीं है । कम्प्यूटर में शिक्षक नहीं होने कारण छात्र अभिभावकों में भी रोष व्याप्त हैं।