
रुड़की में एसटीएफ टीम द्वारा मुठभेड़ के दौरान 04 शूटर्स को किया गिरफ्तार
रुड़की में एसटीएफ और पुलिस ने मुठभेड़ के बाद चार बादमाशों को हथियार समेत गिरफ्तार किया है। चारों बदमाश एक कुख्यात के इशारे पर रुड़की के एक व्यापारी को मारने आये थे। पुलिस की ओर से जारी प्रेस नोट में बताया गया है कि अपर पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार द्वारा स्पेशल टास्क फोर्स मीटिंग के दौरान सक्रिय कुख्यात अपराधियों के संबंध में कार्रवाई के निर्देश दिए जाने के बाद एसएसपी एसटीएफ रिद्धिम अग्रवाल द्वारा एक विशेष टीम का गठन किया गया। इस टीम को सूचना मिली थी कि कुख्यात सुनील राठी के सदस्य, चमोली कारागार में निरुद्ध प्रवीण वाल्मीकि द्वारा रुड़की हरिद्वार में अपनी दहशत व्याप्त करने व रंगदारी वसूलने के उद्देश्य से किसी व्यापारी की हत्या करवाना चाहता है। जिसके लिए उसके द्वारा शार्प शूटरों को रुड़की भेजा गया है। इस सूचना पर शुक्रवार देर रात रुड़की की गंगनहर कोतवाली के अंतर्गत पाडली गुज्जर को जाने वाली सड़क पर एसटीएफ टीम द्वारा मुठभेड़ के दौरान 04 शूटर्स को गिरफ्तार किया गया। बादमाशों के पास से एक पिस्टल 9एमएम,एक पिस्टल 32 एमएम मय कारतूस, 4 मोटरसाइकिल, 5 मोबाइल फ़ोन व 01 वाई फाई डोंगल भी बरामद हुआ है। अभियुक्तों द्वारा पूछताछ में बताया गया है कि वे सभी अपराधी देवबंद जेल में निरूद्ध सुशील चौधरी व चमोली जेल में निरूद्ध कुख्यात अपराधी प्रवीण वाल्मीकि तथा अल्मोड़ा जेल में निरूद्ध रुपेश त्यागी से संपर्क में थे। प्रवीण वाल्मीकि के कहने पर रुड़की के एक व्यापारी की हत्या करने के उद्देश्य से यहां आए थे। पकड़े गए आरोपियों में दीपक मान व दीपक शर्मा उर्फ मोनू पंडित ने अप्रैल 2017 में मंगलोर के व्यापारी पर फायरिंग की बात कबूली है। वहीं अभियुक्त विवेक यादव द्वारा पूर्व में प्रवीण वाल्मीकि व सुशील चौधरी के इशारे पर फरवरी 2017 में थाना देवबंद क्षेत्रांतर्गत एक व्यापारी की हत्या में शामिल होना बताया गया। गिरफ्तार अपराधी अंकुर चौधरी जो सुशील चौधरी मिरगपुर का रिश्तेदार है को एसटीएफ द्वारा उत्तराखंड द्वारा अवैध असलहों की तस्करी के संबंध में पूर्व में भी गिरफ्तार किया गया था।
अपर पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने जब से रुड़की क्षेत्र के अपने मातहतों को एक महीने के भीतर अपराध का ग्राफ सुधारने के निर्देश दिए है तभी से क्षेत्र के पुलिस अधिकारी अलर्ट है और ग्राउंड पर अपराध का रिपोर्ट कार्ड बेहतर करने की पुरजोर कोशिश करते हुए नज़र आ रहे है। एसटीएफ के साथ मिलकर हुई एनकाउंटर की ये कार्रवाई उसकी ताज़ा मिसाल है