उत्तराखंड में विधायी कार्य निपटने के साथ ही सात दिन का शीतकालीन सत्र सिर्फ दो दिन में अनिश्चितकाल के लिए स्थगित हो गया। सदन पांच दिसंबर तक प्रस्तावित था। देर शाम विस के प्रभारी सचिव हेम पंत ने सत्र अनिश्चितकाल के लिए स्थगित होने की अधिसूचना भी जारी कर दी।
विधानसभा में सदन की कार्यवाही के दौरान विधायकों के मोबाइल पर बात करने और दीर्घा से इशारे करने पर विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी भूषण ने नाराजगी जताते हुए सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी।
ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण में सत्र नहीं करवाने के मुद्दे पर सदन खूब गरमाया। विपक्ष ने अवमानना नोटिस देकर सरकार को घेरने की कोशिश की। आरोप लगाया कि सरकार गैरसैंण को ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित कर भूल गई। विपक्ष ने कहा कि सरकार को गैरसैंण को स्थायी राजधानी घोषित करना चाहिए।
ये विधेयक हुए पारित
– उत्तराखंड लोक सेवा (महिलाओं के लिए क्षैतिक आरक्षण) विधेयक।
– उत्तराखंड धर्म स्वतंत्रता संशोधन विधेयक।
– उत्तराखंड विनियोग (2022-23 का अनुपूरक) विधेयक।
– बंगाल, आगरा और आसाम सिविल न्यायालय (उत्तराखंड संशोधन और
अनुपूरक अनुबंध) विधेयक।
– उत्तराखंड दुकान और स्थापन (रोजगार विनियमन और सेवा शर्त) संशोधनविधेयक।
– पेट्रोलियम एवं ऊर्जा अध्ययन विश्वविद्यालय (संशोधन) विधेयक।
– भारतीय स्टांप उत्तराखंड संशोधन विधेयक।
– उत्तराखंड माल एवं सेवा कर संशोधन विधेयक
– उत्तराखंड कूड़ा फेंकना एवं थूकना प्रतिषेध संशोधन विधेयक
– उत्तराखंड जिला योजना समिति संशोधन विधेयक।
– पंचायती राज संशोधन विधेयक।
– हरिद्वार विश्वविद्यालय विधेयक।
– उत्तराखंड नगर एवं ग्राम नियोजन व विकास संशोधन विधेयक।
– उत्तराखंड विशेष क्षेत्र (पर्यटन का नियोजित विकास और उन्नयन) संशोधन
विधेयक। ये विधेयक हुए वापस
– उत्तराखंड पंचायतीराज द्वितीय संशोधन विधेयक।
– कारखाना उत्तराखंड संशोधन विधेयक।