बता दे की शुक्रवार को रुपया अब तक के सर्वकालिक निचले स्तर को भी पार करते हुए 82 रुपये के पार चला गया। रुपया फिलहाल 33 पैसे की गिरावट के साथ डॉलर के मुकाबले 80.22 रुपये पर कारोबार कर रहा है। इससे पिछले सेशन में रुपया 81.88 रुपये के लेवल पर बंद हुआ था।
तो डॉलर के मुकाबले रुपये ने पहली बार 23 सितंबर 2022 को 81 रुपये का लेवल छुआ था। उससे पहले 20 जुलाई को यह 80 रुपये का लेवल पार कर गया था। बाजार के जानकारों के मुताबिक डॉलर इंडेक्स में आई मजबूती के चलते अन्य दूसरी करेंसीज पर दबाव बढ़ा है।
डाॅलर के मुकाबले रुपये में गिरावट का अर्थव्यवस्था पर व्यापक असर पड़ेगा। आयात महंगा होने से विदेश से देश में खरीदी जानेवाली वस्तुओं और की कीमतों में इजाफा होगा। इसका असर आने वाले समय में घरेलू बाजार में पेट्रोल डीजल की कीमतों पर भी पड़ेगा।
हालांकि रुपया का कमजोर होना देश के निर्यातकों के अच्छी चीज साबित हो सकती है, क्योंकि वे अपने उत्पादों के बदले जो डॉलर हासिल करेंगे उन्हें रुपये में बदलने पर उन्हें ज्यादा रुपये मिलेंगे।
व्यापारियों के अनुसार भारतीय रिजर्व बैंक ने शुक्रवार को अमेरिकी फेडरल रिजर्व रेट आउटलुक पर चिंताओं के कारण डॉलर के मुकाबले 82 रुपये के रिकॉर्ड निचले स्तर पर गिरने के बाद राज्य द्वारा संचालित बैंकों के माध्यम से डॉलर की बिक्री की। रुपया पिछले सत्र में 81.88 से नीचे 82.2675 पर कारोबार कर रहा था, लेकिन यह दिन का सबसे निचला स्तर 82.33 रहा। कारोबारियों के अनुसार रुपया खुलने के पहले दस मिनट के भीतर ही डॉलर के मुकाबले गिरकर 82.33 पर आ गया।